उत्तराखण्ड

लालकुआं विधानसभा सीट:- आ सकते हैं चौंकाने वाले आंकड़े, ये कर रहे जीत के दावे, देखें किस क्षेत्र में पढ़ा कितना वोट…..

लालकुआं। विधानसभा चुनाव 2022 के लिए गत दिवस हुए मतदान में लालकुआं विधानसभा सीट से कांग्रेस पार्टी के टिकट से चुनाव लड़ रहे रहे पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत और भाजपा प्रत्याशी डॉ मोहन बिष्ट समेत कुल 13 प्रत्याशियों का भाग्य ईवीएम मशीन में कैद हो गया। चुनाव संपन्न होने के बाद अब राजनीतिक हलकों में तरह-तरह की चर्चाओं का बाजार गर्म हो चला है, जहां कांग्रेस समर्थक लालकुआं सीट से पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की जबरदस्त जीत बता रहे हैं, वही भारतीय जनता पार्टी के समर्थक डॉ मोहन बिष्ट की जीत को लेकर आश्वस्त हैं, वैसे लालकुआं विधानसभा सीट में एक लाख 20 हजार 551 वोटों में से 86 हजार 877 वोट पड़े हैं, जिसमें गौलापार चोरगलिया क्षेत्र में 23 हजार 757 मतों में से 17 हजार 678 वोट पड़े हैं। वही बरेली रोड क्षेत्र में 45 हजार 765 मतों में से 32 हजार 809 वोट पड़े हैं, लालकुआं क्षेत्र में 17 हजार 543 वोटों में से 10 हजार 343 वोट पड़े हैं। वही बिंदुखत्ता क्षेत्र में 33 हजार 486 मतों में से 26 हजार 7 वोट पड़े हैं। निर्वाचन विभाग अभी भी लालकुआं विधानसभा क्षेत्र के 142 बूथों में ईवीएम मशीनों पर अंकित मतों की पीठासीन अधिकारियों द्वारा संख्या के जोड़ घटाने में अंतर करने के चलते आज देर शाम निर्वाचन विभाग द्वारा जो वोट प्रतिशत लालकुआं विधानसभा क्षेत्र का बताया है उसे 70.83 प्रतिशत वोट पढ़ना बताया जा रहा है, यदि 2% वोट कम पड़ते हैं तो इसका मतलब लालकुआं विधानसभा क्षेत्र में 86015 वोट पड़े हैं, इसी आधार पर 6 जोनों एवं 16 सेक्टरों के अंतर्गत आने वाले बूथों में भी कुछ प्रतिशत का असर पड़ सकता है।
लालकुआं विधानसभा क्षेत्र में पड़े इन मतों में निर्दलीय प्रत्याशियों ने भी अपने पक्ष में ध्रुवीकरण किया है। बात करें संध्या डालाकोटी की तो उन्होंने चोरगलिया और गौलापार क्षेत्र में अपना प्रभाव दिखाने का प्रयास किया है, वही निर्दलीय प्रत्याशी पवन चौहान ने लालकुआं क्षेत्र में अपनी जबरदस्त धमक दिखाई है। जिसके चलते इस बार चुनाव में समीकरण कहीं भी इतिहास लिख सकते हैं। मतदान के दिन पत्रकारों ने विभिन्न क्षेत्रों में घूम घूम कर क्षेत्रवासियों से काफी बातचीत की जिसमें अंदाजा लगाया जा रहा है कि बरेली रोड क्षेत्र लालकुआं सीट की हार जीत में निर्णायक साबित होने जा रहा है। आगामी 10 मार्च को चुनाव परिणाम होने तक इस सीट में प्रत्याशियों की हार-जीत को लेकर तरह-तरह की चर्चाओं का बाजार गर्म रहेगा। तथा लोग अपने अपने समर्थकों के पक्ष में शर्त एवं सट्टे भी लगाएंगे। फिलहाल बड़े-बड़े गणितज्ञ एवं इस विधानसभा के समीकरणों के जानकार अपनी अपनी राय शुमारी देने में व्यस्त हैं, जिस पक्ष का जो समर्थक है वह अपने ही प्रत्याशी के पक्ष में पूरा गणित तैयार कर दलीलें दे रहा है, उक्त गणितज्ञ को देखकर लगता है कि इस चुनाव में लालकुआं विधानसभा की सीट उसी का प्रत्याशी जीत रहा है, जबकि दूसरे जानकार के पास जाओ तो वह दूसरा गणित समझा देता है। जिससे अनिश्चितता की स्थिति उत्पन्न हो रही है। कुल मिलाकर लालकुआं विधानसभा सीट वीआईपी होने के साथ-साथ 10 मार्च तक कांटे की टक्कर की सीट मानी जाएगी। जिसमें चुनाव परिणाम चौंकाने वाली भी हो सकते हैं। यदि दावेदारों की बात करें तो पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत का कहना है कि लालकुआं विधानसभा क्षेत्र की जनता का रुझान क्षेत्र के समग्र विकास को लेकर उनके साथ है। और वह भारी मतों से लालकुआं सीट जीत रहे हैं। वहीं भाजपा प्रत्याशी डॉ मोहन बिष्ट का कहना है कि उन्हें स्थानीय होने एवं लालकुआं विधानसभा क्षेत्र के निवासियों से सीधी बातचीत होने का लाभ मिल रहा है। और वह भारी मतों से विजई हो रहे हैं। इधर बतौर निर्दलीय प्रत्याशी चुनाव मैदान में उतरे लालकुआं के पूर्व चेयरमैन पवन कुमार चौहान का कहना है कि इस बार लालकुआं विधानसभा क्षेत्र की फिजा उनके पक्ष में रही और पूरी विधानसभा की जनता ने उन्हें भारी समर्थन दिया है। लालकुआं सीट में वह अवश्य ही जीत हासिल करेंगे। इधर आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी चंद्रशेखर पांडे का कहना है कि उन्होंने वर्षों तक लालकुआं विधानसभा क्षेत्र के लोगों की सेवा की है। इसका फल उन्हें इस विधानसभा चुनाव में मिलने जा रहा है। और वह भारी मतों से विजई होने वाले हैं। कुल मिलाकर किसी भी दल का प्रत्याशी एवं निर्दलीय प्रत्याशी अभी अपने आप को कम आंकने को तैयार नहीं है, तथा विजई बताते हुए लालकुआं विधानसभा क्षेत्र का चौमुखी विकास के दावे कर रहा है।
फाइल फोटो- हरीश रावत
फाइल फोटो- डॉ मोहन सिंह बिष्ट
फाइल फोटो -पवन कुमार चौहान
फाइल फोटो- चंद्रशेखर पांडे

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